Monday, March 20, 2017

जनता ने जड़ा तमाचा

तुम बाज से झपटे थे वोटों पर नाज कर रहे थे नोटों पर पर जनता ने जड़ा तमाचा खत्म हुआ अब तेरा तमाशा।।

No comments:

यथार्थ

रिश्ते-नाते, जान-पहचान औ हालचाल सब जुड़े टके से। टका नहीं यदि जेब में तो रहते सभी कटे-कटे से।। मधुमक्खी भी वहीं मँडराती मकरन्द जहाँ वह पाती ...